विदुर नीति

न चातिगुणवत्स्वेषा नान्यन्तं निर्गुणेषु च।
नेषा गुणान् कामयते नैर्गुण्यात्रानुरज़्यते।
उन्मत्ता गौरिवान्धा श्री क्वचिदेवावतिष्ठते॥

Vidur niti with hindi meaning

लक्ष्मी न तो प्रचंड ज्ञानियों के पास रहती है, न नितांत मूर्खो के पास। न तो इन्हें ज्ञानीयों से लगाव है न मूर्खो से। जैसे बिगड़ैल गाय को कोई-कोई ही वश में कर पाता है, वैसे ही लक्ष्मी भी कहीं-कहीं ही ठहरती हैं ।

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